उत्तराखंड सरकार की हाल ही में आयोजित कैबिनेट बैठक में राज्य के विकास से जुड़े कई अहम प्रस्तावों पर मुहर लगाई गई। मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी की अध्यक्षता में हुई इस बैठक में जैव प्रौद्योगिकी, खनन और बुनियादी ढांचे के क्षेत्र में महत्वपूर्ण निर्णय लिए गए।
जैव प्रौद्योगिकी परिषद के अंतर्गत दो नए सेंटर:
कैबिनेट ने जैव प्रौद्योगिकी विभाग के अंतर्गत दो नए सेंटर स्थापित करने के प्रस्ताव को मंजूरी दी है। इसके साथ ही विभागीय नियमावली को भी स्वीकृति दी गई, जिससे अनुसंधान एवं नवाचार को बढ़ावा मिलेगा।
खनन विभाग में 18 नए पद:
बागेश्वर क्षेत्र में खनन कार्यों की निगरानी और संचालन को सुचारु करने के लिए खनन विभाग में 18 नए पद सृजित किए जाएंगे। इससे क्षेत्र में खनन प्रक्रिया को अधिक पारदर्शी और प्रभावी बनाया जा सकेगा।
बाढ़ परिक्षेत्र घोषित हुआ आसन बैराज क्षेत्र:
सरकार ने आसन बैराज नदी के 53 किलोमीटर क्षेत्र को बाढ़ परिक्षेत्र घोषित करने का निर्णय लिया है। यह कदम आपदा प्रबंधन और भविष्य में बाढ़ नियंत्रण के लिहाज से बेहद अहम माना जा रहा है।
देहरादून में एसटीपी निर्माण को मंजूरी:
पर्यावरण संरक्षण को ध्यान में रखते हुए देहरादून स्थित रिस्पना और बिंदाल नदियों के किनारे STP (सीवेज ट्रीटमेंट प्लांट) निर्माण की मंजूरी दी गई है। यह कदम शहरी जल प्रबंधन और स्वच्छता व्यवस्था को सुदृढ़ करेगा। उत्तराखंड सरकार के ये फैसले न केवल राज्य के विज्ञान, पर्यावरण और खनिज संसाधनों के क्षेत्र में संतुलित विकास की दिशा में कदम हैं, बल्कि आमजन की सुरक्षा और सुविधाओं को प्राथमिकता देने की सरकार की नीति को भी दर्शाते हैं।